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The Faithbook Blog


दृष्टांत और सिद्धांत
छगन को रिक्शा चलाते देख मगन ने आश्चर्य से पूछा, "अरे छगन! तू रिक्शा चलाने लगा? ऐसा क्यों?" छगन ने उत्तर दिया, "मैंने प्रधानमंत्री का...

Aacharya Shri Ajitshekhar Suriji Maharaj Saheb
Feb 42 min read


शराब का नशा अर्थात् मौत का कुँआ
शराब का सेवन एक बार करने के बाद रूकना मुश्कील है। इसका शौक करने जैसा नहीं है, यह मौत का कुँआ है। इसलिए जीवन में पानी आने से पूर्व पाल...

Gachhadhipati Shri Rajendra Suriji Maharaj Saheb
Oct 18, 20243 min read


आपकी उम्र
छगन: “लिली! तेरी उम्र कितनी है?” लिली: “17 साल।” छगन: “ओहो! तूने तो जिंदगी भर के शनि-रवि को जोड़ा ही नहीं है।” यदि शनि-रवि जोड़ दिए...

Aacharya Shri Ajitshekhar Suriji Maharaj Saheb
Sep 10, 20242 min read


मुझे यह बात सबको बतानी है
छगन: “चिंटू! तू मेरी निजी बातें भले ही जान गया, लेकिन किसी को बताना मत। मैं तुझे चॉकलेट दिलाऊँगा।” चिंटू: “मुझे चॉकलेट पसंद नहीं है।”...

Aacharya Shri Ajitshekhar Suriji Maharaj Saheb
Jun 25, 20242 min read


आतम सुख अनुभव करो प्यारे
बात हमारी है। अबजोपति का वारसदार यानी हमारा आत्मा। उसे सभी कुछ मिल सकता है, शर्त ईतनी ही है कि, उसे बाहर भटकना छोड़ देना होगा और घर में आ...

Priyam
Jun 21, 20241 min read
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